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भारत–कतर रणनीतिक साझेदारी को नई गति: विदेश मंत्री Dr. S Jaishankar और कतर के प्रधानमंत्री की दोहा में अहम बैठक

भारत की विदेश नीति लगातार बहुपक्षीय साझेदारियों और क्षेत्रीय स्थिरता पर केंद्रित हो रही है। इसी दिशा में भारतीय विदेश मंत्री Dr. S Jaishankar ने दोहा में कतर के प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री Mohammed bin Abdulrahman Al Thani के साथ एक महत्वपूर्ण मुलाकात की। यह बैठक West Asia में बदलते हालात पर विचार विमर्श के लिए बहुत महत्वपूर्ण रही तथा दोनों देशों के बीच दशकों से चले आ रहे Strategic Partnership को और मजबूत करने का मुख्य अवसर भी बनी। चर्चाओं में ऊर्जा सुरक्षा से लेकर वैश्विक मुद्दों तक अनेक पहलुओं पर विस्तार से बातचीत की गई।

Dr. S Jaishankar और कतर के प्रधानमंत्री की दोहा में अहम बैठक

West Asia के बदलते परिदृश्य पर विस्तृत चर्चा

बैठक में दोनों नेताओं ने West Asia में जारी भू राजनीतिक परिवर्तनों पर विशेष रूप से चर्चा की। यह क्षेत्र ऊर्जा आपूर्ति, व्यापार मार्गों और रणनीतिक स्थिरता के लिहाज से विश्व के सबसे संवेदनशील और महत्वपूर्ण क्षेत्रों में से एक है। दोनों देशों ने चल रहे संघर्षों, सुरक्षा चुनौतियों और क्षेत्रीय सहयोग की संभावनाओं पर भी विचार विमर्श किया।

भारत ने कहा कि वह West Asia में शांति, संवाद और स्थिरता का पक्षधर है, और कतर इस दृष्टिकोण को साझेदार के रूप में साझा करता है। कतर, जो वैश्विक ऊर्जा सप्लाई चेन और मध्यस्थता कूटनीति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है, भारत के लिए स्वाभाविक रणनीतिक सहयोगी बनकर उभरा है। कुल मिलाकर, यह बातचीत West Asia केंद्रित भारतीय नीति को नई ऊर्जा देने वाली साबित हुई।

Dr. S Jaishankar का Strategic Partnership विचार

Dr. S Jaishankar ने बैठक में यह स्पष्ट किया कि भारत कतर के संबंध कूटनीतिक के साथ बहुआयामी और परस्पर हितों पर भी आधारित हैं। चर्चाओं में विशेष रूप से चार प्रमुख क्षेत्रों पर जोर दिया गया:

Amir of Qatar से मुलाकात

विदेश मंत्री ने दोहा यात्रा के दौरान कतर के Amir Tamim bin Hamad Al Thani से भी मुलाकात की। इस मुलाकात ने दोनों देशों के संबंधों को नेतृत्व स्तरीय प्रोत्साहन दिया, जिसमें:

EAM ने अपनी खुशी व्यक्त करते हुए कहा कि यह चर्चाएँ गहरी, फलदायक और भविष्य में सर्वांगिक विकास के दृष्टिकोण से बहुत महत्वपूर्ण है।

Dr. S Jaishankar और कतर के प्रधानमंत्री की दोहा में अहम बैठक

भारत–कतर संबंधों का विस्तार

कतर, Gulf Cooperation Council (GCC) का अहम सदस्य होने के साथ-साथ अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा बाज़ार में भी बड़ी भूमिका निभाता है। वर्तमान समय में भारत के लिए कतर ऊर्जा आपूर्ति, निवेश, श्रम सहयोग,और क्षेत्रीय स्थिरता जैसे सभी पहलुओं में एक प्रमुख रणनीतिक साझेदार है।

यह बैठक इसलिए भी महत्वपूर्ण मानी जा रही है क्योंकि वैश्विक परिस्थितियों में supply chains, energy markets और भू राजनीतिक तनावों की स्थिति तेजी से बदलती जा रही है।

निष्कर्ष

दोहा में External Affairs Minister Dr. S Jaishankar और कतर के प्रधानमंत्री Mohammed bin Abdulrahman Al Thani के बीच हुई उच्चस्तरीय बैठक ने भारत–कतर संबंधों को नए आयाम और गति प्रदान की है। चाहे West Asia की भू राजनीति हो, energy security हो, bilateral trade हो या प्रवासी भारतीयों का welfare की बातचीत हो, दोनों देशों ने मिलकर एक साझा भविष्य के लिए मजबूत नींव रखने का काम किया है।

यह स्पष्ट है कि भारत और कतर आने वाले वर्षों में मिलकर क्षेत्रीय शांति, आर्थिक समृद्धि और वैश्विक सहयोग की दिशा में महत्वपूर्ण योगदान देते रहेंगे।

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